मुख्य पृष्ठ - विभाग - कौशल विकास और प्रशिक्षण - अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण - 15वाँ अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम
राष्ट्रीय पवन ऊर्जा संस्थान के सूचना, प्रशिक्षण और अनुकूलित सेवाएं एकक के द्वारा "पवन ऊर्जा टरबाइन प्रौद्योगिकी और अनुप्रयोग" विषय पर, भारत सरकार, नई दिल्ली के नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के द्वारा समर्थित और भारत सरकार के विदेश मंत्रालय के द्वारा प्रायोजित 15वाँ अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम आयोजित किया गया। इस विशेष अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम का सफलतापूर्वक आयोजन 04 फरबरी से 03 मार्च 2015 की अवधि में किया गया। इस अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम में पवन ऊर्जा की विभिन्न विधाओं, पवन ऊर्जा संसाधन निर्धारण, पवन ऊर्जा टरबाइन संस्थापना, वित्तीय विश्लेषण और सीडीएम लाभ, पवन ऊर्जा टरबाइन क्षेत्र संस्थापना, प्रचालन और रखरखाव आदि विषय मुख्य रूप से संबोधित किए गए। इस विशेष प्रशिक्षण पाठ्यक्रम का आयोजन भारत सरकार के विदेश मंत्रालय के आईटीईसी / एससीएएपी कार्यक्रम के अंतर्गत भारतीय तकनीकी और आर्थिक सहयोग (आईटीईसी) एवं अफ्रीकी कार्यक्रम हेतु विशेष राष्ट्रमंडल सहायता (एससीएएपी) सहभागी देशों के लिए भारत सरकार के नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के समर्थन से आयोजित किया गया है। इस प्रशिक्षण पाठ्यक्रम पाठ्यक्रम में 12 देशों (अफगानिस्तान, अल्जीरिया, बांग्लादेश, बोत्सवाना, फिजी, लिथुआनिया, मेडागास्कर, मलेशिया, नाइजीरिया, सूडान, सीरिया और तंजानिया) के 20 प्रतिभागियों ने भाग लिया।
प्रशिक्षण पाठ्यक्रम का उद्घाटन चेन्नई, आवडी स्थित सेंट पीटर विश्वविद्यालय के उपकुलपति डॉ रामचंद्र मूर्ति के द्वारा किया गया।
इस अंतर्राष्ट्रीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम के लिए पाठ्यक्रम सामग्री, व्याख्यान और विशिष्ट प्रकरण के अध्ययनों के विषय, विशेषज्ञों के सहयोग से निर्मित किए गए। प्रशिक्षण पाठ्यक्रम में व्याख्यान, पवन ऊर्जा विधाओं के राष्ट्रीय पवन ऊर्जा संस्थान में कई वर्षों के अनुभवी वैज्ञानिक, अभियंताओं, पवन ऊर्जा टरबाइन उद्योग और अकादमिक संस्थान के प्रबुद्ध विद्वानों के द्वारा प्रदान किए गए। 28 दिवसीय प्रशिक्षण पाठ्यक्रम कार्यक्रम में प्रतिभागियों को पूर्ण ज्ञान हस्तांतरण एवं प्रदान करने के लिए 47 कक्षा व्याख्यान के अतिरिक्त , पवन ऊर्जा टरबाइन क्षेत्र और कारखानों में भ्रमण और व्यावहारिक प्रशिक्षण सत्र शामिल किए गये।
उपर्युक्त प्रशिक्षण पाठ्यक्रम के प्रतिभागीगणों को तमिलनाडु के दक्षिणी भाग में स्थित कायथर स्थित पवन ऊर्जा टरबाइन परीक्षण / अनुसंधान स्टेशन और कन्याकुमारी के आसपास पवन ऊर्जा टरबाइन क्षेत्रों का अध्ययन भ्रमण हेतु ले जाया गया जहाँ पर नारीयल के वृक्षों की भांति पवन ऊर्जा टरबाइन संस्थापित हैं।
सभी प्रतिभागियों को व्यावहारिक प्रशिक्षण अनुभव देने के लिए तादा मंडल स्थित मैसर्स ग्लोबल विंड पॉवर पवन ऊर्जा टरबाइन निर्माणकर्ता कम्पनी में ले जाया गया जहाँ सभी प्रतिभागियों ने पवन ऊर्जा टरबाइन निर्माण कारखाने में पवन ऊर्जा टरबाइन निर्माण सुविधाओं एवं विभिन्न विषयों पर चर्चा की और ज्ञानवर्द्धक अनुभव प्राप्त किया।
Tप्रशिक्षण पाठ्यक्रम प्रतिभागियों को अनुभव प्रदान करने के लिए, ऑरोविले स्थित मैसर्स मिनवायु कारखाने में ले जाया गया है, जहां सभी प्रतिभागियों को स्थानीय पवन ऊर्जा टरबाइन विनिर्माण के विषय में सैद्धांतिक प्रशिक्षण प्राप्त करने के बाद, लघु पवन ऊर्जा टरबाइन का कम लागत पर स्वंय निर्माण किस प्रकार किया जाए यह अनुभव प्राप्त करने का सुअवसर मिला।
संरचना अभियांत्रिकी अनुसंधान केंद्र के मुख्य वैज्ञानिक डॉ जी राघव इस समापन समारोह मुख्य अतिथि थे और उन्होंने प्रतिभागियों को पाठ्यक्रम प्रमाण पत्र प्रदान किए।
प्रतिभागियों के द्वारा प्रशिक्षण पाठ्यक्रम की संरचना और संगठन की अत्यधिक सराहना की गई। भारत के आतिथ्य और व्याख्यानों की गुणवत्ता से प्रतिभागी बहुत संतुष्ट हुए।